marigraph Meaning in Hindi (शब्द के हिंदी अर्थ)
marigraph ka kya matlab hota hai
मैरिग्राफ
Noun:
लेख, मज़मून, उल्लास, उपधारा, प्रकरण, दफ़ा, पैराग्राफ़, अनुच्छेद,
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marigraph शब्द के हिंदी अर्थ का उदाहरण:
यानी एक ग़ज़ल में अगर सात शेर हैं तो उसमें अलग अलग सात मज़मून हैं, सात अलग अलग भावनाएँ हैं और उस पर भी शायर की कोशिश ये है कि हर मज़मून की तह तक उतरने की कोशिश करे और अपने हर मज़मून के साथ सामयीन को जोड़ने की पूरी कोशिश करे।
ये अभिलेख पहली ईसवी से लेकर चौथी ईसवी के कालखण्ड के हैं।
मध्यकाल के शिलालेखों के अध्ययन से स्पष्ट होता है कि नागरी से सम्बन्धित लिपियों का बड़े पैमाने पर प्रसार होने लगा था।
राष्ट्रकूट राजा इंद्रराज (दसवीं शताब्दी) के लेख में भी देवनागरी का व्यवहार किया है।
डॉ॰ द्वारिका प्रसाद सक्सेना के अनुसार सर्वप्रथम देवनागरी लिपि का प्रयोग गुजरात के नरेश जयभट्ट (700-800 ई.) के शिलालेख में मिलता है।
विभिन्न विषयों पर 100से ज्यादा मज़मून लिखे।
रुद्रदमन के शिलालेखों का समय प्रथम शताब्दी का समय है और इसकी लिपि की देवनागरी से निकटता पहचानी जा सकती हैं।
भारत की स्वतंत्रता के पहले और उसके बाद भी बहुत से लोग हिन्दी को 'राष्ट्रभाषा' कहते आये हैं (उदाहरणतः, राष्ट्रभाषा प्रचार समिति, वर्धा, महाराष्ट्र राष्ट्रभाषा सभा, पुणे आदि) किन्तु भारतीय संविधान में 'राष्ट्रभाषा' का उल्लेख नहीं हुआ है और इस दृष्टि से हिन्दी को राष्ट्रभाषा कहने का कोई अर्थ नहीं है।
प्रोफ़ेसर महावीर सरन जैन ने अपने "हिन्दी एवं उर्दू का अद्वैत" शीर्षक आलेख में हिन्दी की व्युत्पत्ति पर विचार करते हुए कहा है कि ईरान की प्राचीन भाषा अवेस्ता में 'स्' ध्वनि नहीं बोली जाती थी बल्कि 'स्' को 'ह्' की तरह बोला जाता था।
अतः ये अभिलेख इस बात के साक्ष्य हैं कि प्रथम शताब्दी में भी भारत में देवनागरी का उपयोग आरम्भ हो चुका था।
चेहरों से हो दूर उदासी - उनवान ए मज़मून ए हस्ती।
देवनागरी लेखन की दृष्टि से सरल, सौन्दर्य की दृष्टि से सुन्दर और वाचन की दृष्टि से सुपाठ्य है।
अंग्रेज़ों के आगमन से पहले भारतीय उपमहाद्वीप में फ़ारसी भाषा का प्रयोग दरबारी कामों तथा लेखन की भाषा के रूप में होता है।
गुजरात से कुछ अभिलेख प्राप्त हुए हैं जिनकी भाषा संस्कृत है और लिपि नागरी लिपि।
शिलाहारवंश के गंडारादित्य प्रथम के उत्कीर्ण लेख की लिपि देवनागरी है।
कांगड़ा (हिमाचल प्रदेश) के ज्वालामुखी अभिलेख में शारदा और देवनागरी दोनों में लिखा हुआ है।